शख्सियत......

सिंहभूम के लोकप्रिय सांसद गीता कोड़ा के चार वर्ष का कार्यकाल मील के पत्थर
 चाईबासा ( संतोष वर्मा ) : सिंहभूम के राजनीति में गीता कोड़ा का नाम मील के पत्थर हैं। श्रीमती गीता कोड़ा झारखण्ड की उन सफलतम सांसद में शामिल हैं जिन्होंने हमेशा जनता के कार्यों का निस्पादन और अपने क्षेत्र के लोगों के लिए हमेशा समर्पित रही हैं। वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में उन्होंने सिंहभूम सांसदीय क्षेत्र से चुनाव जीत कर यह रिकार्ड बनाया कि वे इस संसदीय क्षेत्र से पहली एकमात्र महिला सांसद के रूप में चुनी गई। साथ ही साथ कांग्रेस को जीतकर स्वाद भी चखाया और पुरे झारखण्ड से एकमात्र झारखण्ड की एकलौती सांसद बनीं। 

 श्रीगीता कोड़ा की यह विशेषता है कि सरल मृदुभाषि और सहज रूप से पुरे संसदीय क्षेत्र में जनता के लिए सदैव उपलब्ध रहती हैं। 

शिक्षा, स्वास्थ्य, सड़क मौलिक सुविधा उपलब्ध कराने के साथ-साथ पेय जल, बिजली के लिए भी हमेशा तत्पर रही और दक्षिण पूर्व रेलवे को सेर्वाधिक राजस्व देने वाला चक्रधरपुर रेल मंडल में रेल यात्रियों की सुविधा के लिए सदैव प्रयत्नशील रही और इसी का यह परिणाम है कि चक्रधरपुर रेल मंडल में रेल यात्रियों की सुविधाऐं बढ़ी और लोगों को काफी राहत भी पहुंचाया। 

 कोरोना काल के दौरान भी इनके द्वारा जितना कार्य किया गया वह काफी प्रशंसनीय और अनुकरणीय रहीं। 

इनके चार वर्ष का बेहतर कार्य काल का परिणाम है कि सिंहभूम संसदीय क्षेत्र में उपलब्धि और बेहतर विकास कार्य निरंतर जारी रहा। लोगों को बेहतर सुविधा मिली है और आने वाले दिन में सांसद के द्वारा कई व्यापक कार्य योजना भी मुर्त रूप लेगी। इस प्रकार से कहा हा सकता है। सांसद ने अपने चार वर्षों के कार्यकाल में सिंहभूम संसदीय क्षेत्र को विकास कार्यों से बेहतर क्षेत्र बनाने में सफल रही है और इस लोकसभा क्षेत्र का नाम झारखण्ड में सशक्त रूप से पहचाना जाता है। 

श्रीमती गीता कोड़ा की राजनीतिक पकड़ और जनाधार काफी प्रगाढ़ है और इसी के परिणाम स्वरूप वे जगन्नाथपुर विधानसभा क्षेत्र से दो बार विधायक तथा आदित्यपुर में अवस्थित आयडा की अध्यक्ष भी रह चुकी हैं जो निश्चित तौर पर उनकी बेहतर राजनीतिक पकड़ का सूचक है।

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