प्राधिकार ने किया मनोनया के सदस्यों का दो दिवसीय कार्यशाला का आयोजन


चाईबासा/संतोष वर्मा: राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकार नई दिल्ली नालसा और झारखंड राज्य विधिक सेवा प्राधिकार रांची के निर्देशानुसार प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश सह अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकार पश्चिमी सिंहभूम चाईबासा मौहम्मद शाकिर के मार्गदर्शन में प्राधिकार के माध्यम से एल एस यू एम मनोनया के सदस्यों के मध्य नालसा की मानसिक दिव्यांगता और मानसिक रूप से पीड़ित लोगों के लिए योजना 2024 के अंतर्गत दो दिवसीय कार्यशाला का आयोजन स्थानीय व्यवहार न्यायालय के सभागार में किया गया।प्रथम दिन कार्यशाला का उद्घाटन प्रधान जिला जज मौहम्मद शाकिर और अन्य न्यायाधीशों ने दीप प्रज्वलित कर किया, इस मौके पर शहर के जाने-माने चिकित्सक डॉक्टर सौम्या सेनगुप्ता भी उपस्थित थे।

सचिव राजीव कुमार सिंह ने बताया कि 2 दिन चलने वाले इस कार्यशाला में एल एस यू एम के सदस्यों को मानसिक रूप से पीड़ित व्यक्तियों के लिए बनाए गए हितकारी कानूनी प्रावधानों को स्पष्ट किया जाना है जिससे यूनिट के हितधारक ऐसे मामले में लोगों को उचित सलाह दे सके और उनकी सहायता कर पाए।

आज कार्यशाला के प्रथम दिन रिसोर्स पर्सन संसाधनकर्मी व्यक्ति के रूप में सचिव राजीव कुमार सिंह ने कार्यक्रम के उद्देश्यों पर प्रकाश डालते हुए इस तरह के मामलों में बनाई गई विधिगत और योजनागत ढांचे की जानकारी प्रदान की और दिव्यांग लोगों के अधिकार कानून 2016, मानसिक स्वास्थ्य कानून 2017 के साथ-साथ यूनाइटेड नेशंस कन्वेंशन ओंन द राइटस ऑफ पर्सन विद डिसेबिलिटीज 2008 की विस्तृत जानकारी प्रदान की।

उन्होने बताया कि दिव्यांग होना अभिशाप नहीं बल्कि उनके लिए भी समान रूप से कानून के दृष्टिकोण से अवसर उपलब्ध होते हैं, ऐसे लोगों को प्राथमिकता के आधार पर सहायता प्रदान करना हम सबका परम कर्तव्य है।उनकी अपेक्षा या अपमान कानूनी रूप से अपराध है अतः ऐसे मामले में संवेदनशीलता के साथ लोगों की सहायता की जानी चाहिए।

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